सिनेमा के दिग्गज राज कपूर के 100 साल पूरे होने पर कपूर परिवार के साथ प्रधानमंत्री ने की बातचीत
ताजा खबरों से अपडेट रहने के लिए हमारे Whatsapp Channel को Join करें |
रणबीर कपूर ने प्रधानमंत्री से बातचीत की शुरुआत की, जिसमें उन्होंने परिवार की उत्सुकता और सम्मान व्यक्त किया। प्रधानमंत्री ने सहजता से उन्हें संबोधित करते हुए राज कपूर को भारतीय सिनेमा के एक महत्वपूर्ण स्तंभ के रूप में याद किया।
रणबीर ने बताया कि उनके दादा की पहचान के कारण उन्हें विदेशों में फ्री टैक्सी राइड मिलती थी। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर सेंट्रल एशिया में एक विशेष फिल्म बनाने की संभावना पर जोर दिया, जो नई पीढ़ी को राज कपूर की विरासत से जोड़ सके।
New Delhi/ राज कपूर की 100वीं जयंती के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और कपूर परिवार के बीच हुई बातचीत भारतीय सिनेमा के प्रति राज कपूर के ऐतिहासिक योगदान और उनकी विरासत के सम्मान का प्रतीक है। यह बातचीत उनकी फिल्मों, उनके द्वारा स्थापित सांस्कृतिक पहचान, और उनके परिवार के सदस्यों की भावनात्मक अभिव्यक्तियों से भरपूर थी।
रणबीर कपूर ने प्रधानमंत्री से बातचीत की शुरुआत की, जिसमें उन्होंने परिवार की उत्सुकता और सम्मान व्यक्त किया। प्रधानमंत्री ने सहजता से उन्हें संबोधित करते हुए राज कपूर को भारतीय सिनेमा के एक महत्वपूर्ण स्तंभ के रूप में याद किया। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि राज कपूर ने अपने समय में भारत के "सॉफ्ट पावर" की ताकत को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर स्थापित किया, खासतौर पर सेंट्रल एशिया में।
कपूर परिवार के अन्य सदस्यों ने भी राज कपूर की लोकप्रियता और उनकी फिल्मों के प्रभाव की कहानियां साझा कीं। रणबीर ने बताया कि उनके दादा की पहचान के कारण उन्हें विदेशों में फ्री टैक्सी राइड मिलती थी। प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर सेंट्रल एशिया में एक विशेष फिल्म बनाने की संभावना पर जोर दिया, जो नई पीढ़ी को राज कपूर की विरासत से जोड़ सके।
बातचीत में प्रधानमंत्री ने परिवार की नई पीढ़ी के प्रयासों की सराहना की, खासकर राज कपूर पर आधारित एक नई फिल्म बनाने की योजना को। प्रधानमंत्री ने भारतीय संगीत और फिल्मों की वैश्विक अपील का भी उल्लेख किया, जो लोगों को जोड़ने का एक प्रभावी माध्यम है।
रणबीर कपूर ने राज कपूर की बहाल की गई फिल्मों के आगामी रेट्रोस्पेक्टिव का विवरण साझा किया, जिसे सरकार और फिल्म संस्थानों की मदद से 40 शहरों में प्रदर्शित किया जाएगा। यह कार्यक्रम भारतीय सिनेमा के स्वर्णिम अतीत और उसकी स्थायी विरासत का जश्न मनाने का प्रयास है।