महाशिवरात्रि पर केदारनाथ धाम के कपाट खुलने की तिथि घोषित

Wed 26-Feb-2025,09:14 PM IST +05:30

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महाशिवरात्रि पर केदारनाथ धाम के कपाट खुलने की तिथि घोषित
  • हर साल सर्दियों में भारी बर्फबारी के कारण छह महीने के लिए केदारनाथ धाम के कपाट बंद कर दिए जाते हैं, और ग्रीष्मकाल में श्रद्धालुओं के लिए पुनः खोल दिए जाते हैं।

  • उत्तराखंड के चार धामों में से एक केदारनाथ मंदिर, रुद्रप्रयाग जिले में स्थित है। यह गौरीकुंड से लगभग 16 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है

  • भक्तगण केदारनाथ के साथ-साथ बद्रीनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री के दर्शन भी करते हैं, जिससे उनकी चार धाम यात्रा पूर्ण होती है।

  • खटीमा से उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा, "2 मई को भक्तों के लिए बाबा केदारनाथ धाम के कपाट खुलेंगे। यह अत्यंत शुभ दिन है। 

Uttarakhand / Rudraprayag :

केदारनाथ/ बाबा केदारनाथ के भक्तों के लिए महाशिवरात्रि के पावन अवसर पर बड़ी खुशखबरी आई है। इस वर्ष 2 मई को सुबह 7 बजे वृष लग्न में केदारनाथ धाम के कपाट खोलने की तिथि घोषित कर दी गई है। इसी के साथ चार धाम यात्रा भी आरंभ हो जाएगी। हर साल सर्दियों में भारी बर्फबारी के कारण छह महीने के लिए केदारनाथ धाम के कपाट बंद कर दिए जाते हैं, और ग्रीष्मकाल में श्रद्धालुओं के लिए पुनः खोल दिए जाते हैं।

केदारनाथ धाम, देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक और पंच केदार में प्रमुख स्थान रखता है। इन 12 ज्योतिर्लिंगों में शामिल हैं— गुजरात का सोमनाथ और नागेश्वर मंदिर, आंध्र प्रदेश का मल्लिकार्जुन मंदिर, मध्य प्रदेश का महाकालेश्वर और ओंकारेश्वर मंदिर, उत्तराखंड का केदारनाथ मंदिर, महाराष्ट्र का भीमाशंकर और त्र्यंबकेश्वर मंदिर, उत्तर प्रदेश का काशी विश्वनाथ मंदिर, झारखंड का वैद्यनाथ मंदिर, तमिलनाडु का रामेश्वरम और महाराष्ट्र का घुश्मेश्वर मंदिर।

उत्तराखंड के चार धामों में से एक केदारनाथ मंदिर, रुद्रप्रयाग जिले में स्थित है। यह गौरीकुंड से लगभग 16 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है, जहाँ भक्त कठिन चढ़ाई करके भगवान शिव के दर्शन के लिए पहुंचते हैं। इस मंदिर के निर्माण का श्रेय आदि गुरु शंकराचार्य को दिया जाता है, जिन्होंने इसे 8वीं-9वीं शताब्दी में पुनर्निर्मित करवाया था।

पौराणिक कथा के अनुसार, महाभारत के समय भगवान शिव ने पांडवों को बैल के रूप में दर्शन दिए थे। यह स्थल शिव भक्ति और आस्था का केंद्र माना जाता है, जहाँ हर साल लाखों श्रद्धालु आकर बाबा केदारनाथ का आशीर्वाद प्राप्त करते हैं। भक्तगण केदारनाथ के साथ-साथ बद्रीनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री के दर्शन भी करते हैं, जिससे उनकी चार धाम यात्रा पूर्ण होती है।

वहीँ, खटीमा से उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा, "2 मई को भक्तों के लिए बाबा केदारनाथ धाम के कपाट खुलेंगे। यह अत्यंत शुभ दिन है। हमने सभी व्यवस्थाओं की समीक्षा कर ली है। सभी विभाग मिलकर यात्रा का अच्छा संयोजन करेंगे। बाबा की कृपा से यह यात्रा ऐतिहासिक होगी।"